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________________ अपश्चिम तीर्थकर महावीर - 140 गिर रहे हैं। श्वास बहुत तेज आ रहा है। चमड़ी में से खून निकल रहा है। इन प्राणप्रिय बछड़ों की ऐसी दशा! कौन ले गया इन्हें? सेठ बड़ा व्याकुल हो गया। इधर-उधर पूछने लगा। तब सेठ के परिचित व्यक्ति ने बतलाया कि इन्हें तुम्हारा मित्र उत्सव में ले गया था। इन्हें वहां बहुत दौड़ाया, जिस कारण इनकी ऐसी दशा बनी। सेठ यह बात श्रवण कर वड़ा खेदित हुआ। मन ग्लानि से भर गया कि देखो, अपने मनोरंजन के लिए कितना कष्ट इनको दिया। बाहर में भ्रमित व्यक्ति दूसरों के दुःख को नहीं जान सकता। कैसी निर्दयता कि पुनः इनकी सम्हाल भी नहीं ली। सेठ करुण दृष्टि से उन बछड़ों को देख रहा था। उनके सामने वे पूले रखे, पर खाना तो दूर, वे उन पूलों को देखना भी पसन्द नहीं कर रहे थे। तब सेठ पौष्टिक अन्न से परिपूर्ण थाल लाता है और उन बछड़ों के सामने रखता है, पर उन्होंने उसकी ओर भी नहीं देखा। तव सेठ ने देखा कि अब इनको आहार--पानी इष्ट नहीं है। इन्हें मारणान्तिक कष्ट हो रहा है। ऐसे समय में इनकों चारों आहार का त्याग करना उचित है । अतः सेठ ने उनको चौविहार संथारा पचक्खा दिया और सब कार्य छोड़कर उनको नमस्कार महामंत्र सुनाने लगा। नमस्कार महामंत्र के साथ-साथ भव स्थिति आदि का भी बोध कराया। वे दो बछड़े इन सब बातों को सुनकर आत्मचिन्तन में लीन वने, समाधिमरण को प्राप्त कर कम्बल और सम्बल नामक देव बने । इन दोनों देवों ने जव अवधिज्ञान से जाना कि प्रभु पर उपसर्ग आया है। सुदंष्ट्र देव प्रभु को पीड़ित कर रहा है तव ये दोनों तुरन्त वहां से आये। एक तो सुदंष्ट्र से युद्ध करता है और दूसरा अपने हाथ पर नाव उठाकर गंगा नदी के किनारे रख देता है। यद्यपि सुदंष्ट्र देव कम्बल और सम्बल देव की अपेक्षा अधिक ऋद्धि वाला था लेकिन उसकी आयु समाप्त होने वाली थी इसलिए उसकी ऋद्धि कम हो गयी और कम्बल, सबल ने उसको जीत लिया। वह सुदंष्ट्र हारकर वहां से भाग गया तब कम्बल और सम्बल प्रभु के पास आये। उन्होंने सुगन्धित सुमनों एवं गन्नाटक की वर्षा की। तदनन्तर हर्षपूर्वक प्रभु को नमस्कार करके वहां
SR No.010152
Book TitleApaschim Tirthankar Mahavira Part 01
Original Sutra AuthorN/A
AuthorAkhil Bharat Varshiya Sadhumargi Jain Sangh Bikaner
PublisherAkhil Bharat Varshiya Sadhumargi Jain Sangh
Publication Year2005
Total Pages259
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Biography, & Story
File Size10 MB
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