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परम ज्योति महावीर
[ करुण, धर्मवीर एवं शान्त रस प्रधान महाकाव्य ]
रचयिता धन्यकुमार जैन 'सुधेश'
नागौद (म० प्र०)
(सर्वाधिकार लेखकाधीन)
प्रकाशकश्री फूलचंद जवरचंद गोधा जैन ग्रंथमाला
८, सर हुकमचंद मार्ग
इन्दौर नगर
प्रथम संस्करण।
१२००
__जून सन् १९६१
{मूल्य ७)