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३. परिग्रह
* क्या है आचेलक्य ? * ताकि भक्तों का दिल न टूटे * परिग्रह का फल - निगोद * ममत्वभाव से ही परिग्रह * अपवाद मार्ग का अर्थ स्वच्छन्द वृत्ति नहीं है * उपकरण * नॅपकीन रखने में दोष * चष्मा और घड़ी
* कुदान का फल ४. पत्थर की नाव
* जिनधर्म के विराधक * श्रमणों को दूषित करने वाले कार्य * मुनियों की दुर्गति * अवन्दनीय * शास्त्रानुसार चर्या होने पर... * अरिष्ट निवारण * ग्रहशान्ति - एक ढकोसला
* लक्ष्मी-लाभ ५. आहार
* आहारचर्या * शुद्ध आहारचर्या का महत्त्व * साधु आने के बाद... * आहार के समय इशारे * ठंडा पानी * दंतमंजन * प्रसाद * आहार... कितनी बार ? * आहार के बदले में... * क्षुल्लक जीवन में परस्परा वश अपार विघ्न कड़वे सच
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प्रकीर्णक
७३-९८ अस्नान और तेलमालिश * केशलोच और उपवास * परिवार और संस्था * धर्म के असली दुश्मन * व्यापार में सलाह * क्षेत्रविकास और समाजसेवा * पीछी के साथ नहीं * आनन्दयात्रा * नकली भक्त * जन्मदिवस * सर्वधर्मसंमेलन * समाचारपत्र विहार
९५ * विवाह * मुनि भी दीक्षा दे सकते हैं ९ पंचम काल में मुनि ? ९९* क्या कहता है आगम? * मुनि की पहचान
१०० * पूज्यता का आधार * द्रव्यलिंगी से व्यवहार गृहस्थ का कर्तव्य
१०६ दान के अभाव में
१०८ घर या श्मशान? दान में सावधानी
११४ * कौन कब दे ?
११७ विघ्न का फल
११८ कीजे शक्ति प्रमाण उद्दिष्ट त्याग किसका ?
१२१ -कड़वे सच . . . . . . .
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