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सैंकड़ों वर्षों के इतिहास में सर्वप्रथम बार श्री गिरनार महातीर्थ की गोद में
सामुहिक चातुर्मासिक आराधना के प्रेरणा निश्रादाता,
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सहसावन तीर्थोद्धारक, साधिक ३००० उपवास तथा ११५०० आयंबिल तप के घोर तपस्वी, श्री संघहितार्थ घोर अभिग्रहधारी
परमपूज्य आचार्यश्रीमद्विजय हिमांशुसूरीश्वरजी महाराज की
पुण्यस्मृति निमित्त श्रद्धांजलि...
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