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आगमसार. अनंता छे. अतीत काले अनंतासमय गया अने अनागतकाले अनंता समय आवशे. तथा वर्तमानकाले समय एक छे माटे अनेक पक्ष छे. पुद्गलद्रव्यना परमाणु अनंता छ ते एकेक परमाणुमां अनंतागुण पर्याय छे अने सवे परमाणुमां पुदलपणु ते एकज छे माटे एक छे.
जीवद्रव्य अनंता छे. एकेका जीवमां प्रदेश असंख्याता छे. तथा गुण अनंता छे. पर्याय अनंता छे ते अनेकपणुं छे पण जीवितव्यपणुं सर्वजीवनु एकसरी छे माटे एकपणुं छे. इहां शिष्य पुछे छे जे सर्व जीव एक सरीखा छे तो मोक्षनाजीव सिद्ध परमानंदमयी देखाय छे अने संसारीजीव कर्मवश
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