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युग-प्रमुख, चारित्र - शिरोमणि, सन्मार्ग दिवाकर श्राचार्य श्री विमलसागरजी महाराज
हीरक जयन्ती वर्ष
के अवसर पर प्रकाशित पुष्प नं. २६
श्री अमितगति आचार्य विरचित
श्री श्रमितगतिश्रावकाचार
हिन्दी अनुवाद : पं० भागचन्द जी
संशोधन :
संघस्थ पञ्चम पट्टाचार्य श्री श्रेयांससागर जी
सानिध्य :
परमपज्य, ज्ञानदिवाकर, उपाध्याय मुनि श्री भरतसागरजी महाराज
निर्देशन :
परम पूज्या प्रार्थिका स्याद्वादमतिजी माताजीं
अर्थ सहयोगी :
श्रीमती कल्पना रिखबदास गहनकरी जैन, जालना :
प्रकाशक :
भारतवर्षीय अनेकान्त विद्वत् परिषद्