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प्रमेयबोधिनी टीका पद १६ सू० ३ जीवप्रयोगनिरूपणम् भङ्गाः, अथवा एकथाहारकशरीरकायप्रयोगी च, कार्मणशरीरकायप्रयोगी च १, अथवा एकथाहारकशरीरकायप्रयोगी च, कार्मणशरीरकायप्रयोगिणश्च२, अथवा एके चाहारकशरीरकायप्रयोगिणश्च, कार्मणशरीरकायप्रयोगी च ३, अथवा एके चाहारकशरीरकायप्रयोगिणश्च, कार्मणशरीरकायप्रयोगिणश्च, ४, चत्वारो भङ्गाः, अथवा एकथाहारकमिश्रशरीरकायप्रयोगी च, कार्मणशरीरकायप्रयोगी च १, अथवा एकश्चाहारकमिश्रशरीरकायप्रयोगी च, कार्मणशरीर
(अहवेगे आहारगसरीरकायप्पओगी य कम्मगसरीरकायप्पओगी य) अथवा कोई एक आहारकशरीरकायप्रयोगी और एक कार्मणशरीरकायप्रयोगी (अहवेगे य आहारगसरीरकायप्पओगी य कम्मासरीरकायप्पओगिणो य) अथवा कोई एक आहारकशरीरकायप्रयोगी और अनेक कार्मणशरीरकायप्रयोगी (अहयेगे य आहारगसरीरकायप्पओगिणो य कम्मासरीरकायप्पओगी य) अथवा कोई अनेक आहारकशरीरकायप्रयोगी और एक कार्मणशरीरकायप्रयोगी (अहवेगे य आहारग सरीरकायप्पओगिणो य कम्मासरीरकायप्पओगिणो य) अथवा कोई अनेक आहारकशरीरकायप्रयोगी और अनेक कार्मणशरीरकायप्रयोगी (चउरो भंगा) ये चार भंग होते हैं।
(अहवेगे य आहारगमीसासरीरकायप्पओगी य कम्मगसरीरकायप्पओगी घ) अथवा कोई एक आहारकमिश्रशरीरकायप्रयोगी और एक कार्मणशरीरका. यप्रयोगी (अहवेगे य आहारगमीसासरीरकायप्पओगी य कम्मासरीरकापप्पओ. गिणो य) अथया कोई एक आहारकमिश्रशरीरकाययोगी और अनेक कार्मणशरीरकायप्रयोगी (अहवेगे य आहारगमीसासरीरकायप्पओगिणो य, कम्मासरीर. भने अने: PAIS२४ भित्र शरी२४।५ प्रयोil (चत्तारि भंगा) ॥ या२ ॥ याय
(अहवेगे आहारगसरीरकायप्पओगी य कम्मगसरीरकायप्पओगी य) Aथा भने माहा. २४ शरी२४।५ प्रयेाजी भने २४ भए शरी२५य प्रयोजी (अहवेगे य आहारगसरीरकायप्पओगी य कम्मासरीरकायप्पओगिणो य) मय ४ माहा२ शरी२४य प्रयोगी अन भने अभएर शरी२७।५ प्रयोगी (अहवेगे य आहारगसरीरकायप्पओगिणो य कम्मा सरीरकायप्पओगी य) मा ७ मने माइ।२४ शरी२७य प्रयोगी अने मे । शरी२४१यप्रयोगी (अहोगे य आहारगसरीरकायप्पओगिणो य कम्मासरीरकायप्पओगिणो य) अथवा । अने: ।।२४ शरी२४१यप्रयोगी म. सने शरी२७.यप्रयोगी (चउरो भंगा) मा यार . थाय छे
(अहवेगे य आहारगमीसासरीरकायप्पओगी य कम्मगसरीरकायप्पओगी य) Aथा छ से माहाभिशरीय प्रयोगी अने मे भएशरी२४।यप्रयोगा (अहवेगे य आहारगमीसा
श्री प्रशान॥ सूत्र : 3