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________________ ६८८ भगवतीचे यदि त्रिवर्णः-वर्णत्रयवान् षट्मदेशिका स्कन्धस्तदा 'सिय कालए य नीलए य लोहियए य' स्यान कालश्च नीलश्च लोहितश्च ‘एवं जहेव पंचपएसियस्१' एवं यथैव पश्चपदेशिकस्य 'सत्त भंगा' सप्त भङ्गाः, 'जाव सिय कालगाय नीलगा य लोहियए य७, सिय कालगाय नीलगा य लोहियगा य८, यावत् स्यात् कालकाच नीलकाश्च लोहितच, स्यात् कालकाश्च नीलकाश्च लोहितकाश्चेत्यष्टमः८, अत्र यावत्पदेन पञ्चपदेशिकस्य द्वितीयभङ्गादारभ्य षष्ठान्तस्य ग्रहणं भवति तथाहि-'सिय कालए नीलए लोहियगा य२, सिय कालए नीलगा य लोहियए य३, सिप य मुक्किलए य ३, सिय हालिदगा य मुक्किलगा य ४' ये चार भंग भी पीतवर्ण और शुक्लवर्ण की एकता और अनेकता में हुए हैं इस प्रकार से मूल में ये १० द्विकसंयोग हैं इन १० विकसंयोगों के ये अवान्तर ४-४ भंग और हुए हैं इस प्रकार कुल बिकसंयोगी यहां ४० भंग हो जाते हैं। _ 'जइ तिबन्ने' यदि वह षटूप्रदेशिक स्कन्ध तीन वर्ण वाला होता है तो या तो वह 'सिय कालए य नीलए य लोहियए य १' कदाचित् कृष्णवर्ण वाला हो सकता है नीलवर्ण वाला हो सकता है और लोहित वर्ण वाला हो सकता है इस प्रकार से वह तीन वर्ण वाला हो सकता है, या यावत् पदगृहीत 'सिय कालए य नीलए य लोहियगा य २' કેઇ એક પ્રદેશમાં પીળા વર્ણવાળ હોય છે અને અનેક પ્રદેશોમાં સફેદ १ वाणडाय छे. २ 'सिय हालिहगा य सुकिल्लए य३' भने प्रहे. શેમાં પીળાવ વાળ હોય છે તથા કઈ એક પ્રદેશમાં સફેદ વર્ણવાળ હોય D 3' 'सिय हलिहगा य सुकिल्लगा य ४' भने प्रदेशमा alaayाणा હોય છે અને અનેક પ્રદેશમાં સફેદ વર્ણવાળ હોય છે. આ ચાર ભંગ પીળા અને સફેદ વર્ણના એકપણું અને અનેકપણાથી થયા છે. આ રીતે બ્રિકસગી અંગે જે મુખ્ય ૧૦ દસ છે તેના એક એકના ચારચાર અવાર ભેદ થવાથી દ્વિસંગી ભંગો કુલ ૪૦ ચાળીસ થાય છે, 'जह तिवन्ने त छ प्रशवाणी २४५ व पाणी हाय तोते मा प्रमाणे वा ३७ श छे.-'सिय कालए य नीलए य लोहियए य १' हा ताणे डाय छ, नाणे ५५ डाले અને કઈ વાર લાલવર્ણવાળ પણ હેઈ શકે છે આ રીતે એ ત્રણ वाम थाय. म पडस . १' 'सिय कालए य नीलए य શ્રી ભગવતી સૂત્ર: ૧૩
SR No.006327
Book TitleAgam 05 Ang 05 Bhagvati Vyakhya Prajnapti Sutra Part 13 Sthanakvasi
Original Sutra AuthorN/A
AuthorGhasilal Maharaj
PublisherA B Shwetambar Sthanakwasi Jain Shastroddhar Samiti
Publication Year1969
Total Pages970
LanguageSanskrit, Hindi, Gujarati
ClassificationBook_Devnagari, Agam, Canon, & agam_bhagwati
File Size58 MB
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