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जिमावे ठंडो रेवजो बधावना, काई गल जिम मीठी जबान राखजो बधावना ।। नाक लेॐ बेटी देऊँजी काई बधावना थे राखो नाक री लाज काजल इम घालेजी बधावना ।। मर्यादा में जो तुम न रेवोजी बधावना, कांई कुल में कलंग लग जाय कंवर सा बधावना ॥ मर्यादा में चालजो बधावना, काई झिलमिल आरती सं बधाय ले जाऊँ परणासंबधावना ॥ मोत्यां ज्यूं मंगा घणोजी बधावना कांई हिवडा रे हार कुल दिपावजो बधावना । दही मथने से मक्खन निकलेजी कांई बधावना, कांई नरम-गरम खजो भाव होवे जसकीति बधावना ॥ तोरण बीन्द सराविया बधावना, कांई सारे बन्धु सब परिवार आनन्द तरताविया बधावना ॥
। हथलेवा और चंवरी का गीत ॥ (तर्ज---माया आपा मगल गाया भआ बाई रो नेग चुकाओ।)
पंडितजी हथलेवो जुडावोजी । भुआजी हाथे मेंहदी रखावोजी चेडा बांधी ने चवरयां में जावेजी। मेंहदी रंग ज्यूं प्रेम बढाओजी । चरियां में चँवर दुलावोजी । जुबाडा बैलां रे गर्दन पर रेवेजी गाडी रो भार सगलो उठावेजी । जिम गृहस्थ रा भार उठावोजी । जोडी जुगत सुं हिल-मिल चालोजी ।
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