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________________ (२७) हैं, वहाँ प्रगति, समृद्धि और सत्ता स्वय उपस्थित होती है । तथागत बुद्ध ने कहा था-'जब तक वैशाली गणराज्य के क्षत्रिय परस्पर मिलकर विचार करेंगे, वृद्धजनों का परामर्श मानेंगे, एक-दूसरे का सन्मान करेंगे और संगठित-एकमत होकर कोई कार्य करेंगे, तब तक कोई भी महाशक्ति इनका विनाश नहीं कर सकती ।' भारत जैसे महान राष्ट्र के लिए भी आज यही बात कही जा सकती है, यहाँ का युवावर्ग यदि अपने वृद्धजनों का सन्मान करता रहेगा, उनके अनुभव से लाभ लेता रहेगा, उनका आदर करेगा और स्वार्थ की भावना से दूर रहकर धर्म व राष्ट्रप्रेम की भावना से संगठित रहेगा, एक-दूसरे का सन्मान देगा तो वह निश्चित ही एक दिन संसार की महाशक्ति बन जाएगा । कोई भी राष्ट्र इसे पराजित तो क्या टेढ़ी आंख से भी 'देखने की हिम्मत नहीं करेगा अतः सर्वप्रथम युवावर्ग को 'अनुशासन' में रहने की आदत
SR No.006267
Book TitleJage Yuva Shakti
Original Sutra AuthorN/A
AuthorDevendramuni
PublisherTarak Guru Jain Granthalay
Publication Year1990
Total Pages68
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size4 MB
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