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पादशाहीन रक्षण करनार प्रतापी छत्रपति शिवाजी महाराजनो जन्म थयो हतो. अत्रे कहेQ प्राप्त थाय छे के महाराष्ट्र हमेशां कॉन्फरन्सनो ध्वज फरकतो राखवा सतत प्रयत्नो करेला छे. कॉन्फरन्सना आदेशोनो वधुमां वधु अमल महाराष्ट्रमा थएलो छे. कॉन्फरन्सने महाराष्ट्र शेठ चुनीलाल स्वरुपचंद राजुरीकर, शेठ बालचंद हीराचंद चांदवडकर, श्री पोपटलाल रामचंद्र शाह अने श्री मोतीलाल वीरचंद शाह जेवा प्रखर देशभक्त सुकानीओ आपेला छे. ___ कॉन्फरन्स जुन्नरमां भरवानुं नक्की थतां तेमां दीक्षाने लगतो अमुक ठराव रजू थशे एम मानी लई तेनी तरफेण अने विरुद्धमा टीकानो एटलो मोटो राफडो फाट्यो के जैनसमाजनी स्थिति धूंधवाता ज्वाळामुखी जेवी होई तेने जुन्नेर खाते फाटवानी अनुकूळता मळतां भारे अनर्थ अने उल्कापात थई जशे एवो भय सेवावा लाग्यो. अधिवेशन पहेलां ज वातावरणमां एवा भणकारा संभळाता हता के जुन्नेर खाते कॉन्फरन्सनी सुधारानी किस्ती दीक्षाना सवालनी चर्चा उपर भांगीने भुक्को थई जशे. वातावरण गमे त्यारे स्फोटक बनवा संभव छे एम जाण्या छतां कॉन्फरन्सने पोताने आंगणे आमंत्रण आपी हिंमतपूर्वक मुसीबतोनो सामनो करवानी तैयारी बदल महाराष्ट्रना आगेवानोनी धर्मधगशने धन्यवाद घटे छे.
अधिवेशन सं. १९८६ना महा सुद १०-११-१२ ता. ८-२१० फेब्रुआरी सन १९३०ना दिवसोमां मुंबई निवासी आगेवान श्रेष्ठी रावसाहेब शेठ रवजी सोजपालना प्रमुखपदे मळ्यु हतुं.
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