________________ जिणमुद्द जोगमुद्दा मुत्तासुत्ती उ तिण्णि मुद्दाओ / कायमणोवयणनिरोहणं च पणिहाणतियमेयं __ // 698 // पंचंगो पणिवाओ थयपाढो होइ जोगमुद्दाए / वंदण जिणमुद्दाए पणिहाणं मुत्तसुत्तीए // 699 // अन्नुन्नंतर अंगुलि कोसागारेहिं दोहिं हत्थेहिं / पिट्टोवरि कुप्परि संठिएहिं तह जोगमुद्द त्ति // 700 // चत्तारि अंगुलाई पुरओ ऊणाइं जत्थ पच्छिमओ। पायाणं उस्सग्गो एसा पुण होइ जिणमुद्दा // 701 // मुत्तासुत्ती मुद्दा समा जहिं दो वि गब्भिया हत्था / ते पुण निलाडदेसे लग्गा अन्ने न लग्ग त्ति // 702 // अट्ठट्ठ नवट्ठ य अट्ठवीस सोलस य वीस वीसामा। मंगल इरियावहिया सक्कत्थयपमुहपणदंडे . // 703 // मंगलयहऽट्ठ य संपयाओ नवहा उ होइ पयपढणं / . पज्जंतसत्तरसक्खर परिमाणा अट्ठमी भणिया // 704 // सत्त पण सत्त सत्त य नव अट्ठट्ठव सत्तरस हवंति। . मंगलमय पय अक्खर अट्ठट्ठी हवइ नायव्वा // 705 // अडसट्ठी मज्झयाओ सोलस बीयक्खरा उ छडुगुणा / लहुया उ अट्ठवीसं चालीसं गुरु नमुक्कारे // 706 // छद्दुगुणा यथा / द्धाज्झा व्वक्काव्वप्पव्वे॥ . सोलस बीजाक्षराणि यथा अरिहंत सिद्ध आयरिय उवज्झाय साहू // अद्वैव संपयाओ नव य पया पंच पंच अहिगारा / अंतिमचूलाय तियं अट्ठट्ठी मंगले वन्ना // 707 // दुगर दुग२ चउरो४ सत्ते७ क्कयं१ च पंचेव५ दसय१० मेगं१ च। इरियावहियापयसंखयाओ बत्तीस नेयाओ // 708 // . 285 .