________________ नो सत्थं न विसं न साइणिवसो नो पेयभूयग्गहो, दुक्कालो न दुराउलं न जलणो जालाकरालो य तं / सिद्धंतो जिणभासिओ कुमइणा लोएण मिच्छागहा, संपाडेज्ज अणत्थसत्थमिह जं देसिज्जमाणोऽन्नहा // 9 // एसो धम्मोवएसो निबिडतमतमुत्तारतारप्पईवो, एसो धम्मोवएसो मयमयणमहावाहिणासोसही य / एसो धम्मोवएसो सिवसुहभवणारोहसोपाणसेणी, एसो धम्मोवएसो भवियजण ! तए णावणिज्जो मणाओ // 10 // // श्रीगौतमकुलकम् // लुद्धा नरा अत्थ परा हवंति, मूढा नरा कामपरा हवंति / बुद्धा नरा खंति परा हवंति मिस्सा नरा तिन्नि वि आयरंति // 1 // ते पंडिया जे विरया विरोहे, ते साहुणो जे. समयं चरंति / ते सत्तिणो जे न चलंति धम्मं, ते बंधवा जे वसणे हवंति // 2 // कोहाभिभूया न सुहं लहंति, माणंसिणो सोयपरा हवंति / मायाविणो हूंति परस्सपेसा, लुद्धामहिच्छा नरयं उर्वति // 3 // कोहो विसं किं अमयं अहिंसा, माणो अरी किं हियमप्पमाओ। माया भयं किं सरणं तु सच्चं, लोहो दुहं किं सुहमाह तुट्ठि // 4 // बुद्धी अचंडं भयए विणीयं, कुद्धं कुसीलं भयए अकित्ती / संभिन्नचित्तं भयए अलच्छी, सच्चे ट्ठियं संभयए सिरी य // 5 // चयंति मित्ताणि नरं कयग्घं, चयंति पावाइं मुणिं जयंतं / चयंति सुक्काणि सराणि हंसा, चयंति बुद्धी कुवियं मणुस्सं // 6 // अरोईअत्थे कहीए विलावो, असंपहारे कहीए विलावो / विक्खित्तचित्ते कहीए विलावो, बहु कुसीसे कहीए विलावो // 7 // 33