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________________ . . - प्रकाशिका : श्री हर्षपुष्पामृत जैन ग्रंथमाला-(लाखाबावल) . श्रुतज्ञान भवन 45 दि. प्लोट, जामनगर वीर सं. विक्रम सं. सन् . प्रथमावृत्तिः 2522 2052 1996 अतयः 750 आभार दर्शन अमारी ग्रंथमाला तरफथी श्रीनरभव दृष्टांतोपनयमाला प्रगट करतां आनंद थाय छे. आ ग्रंथy संपादन पू. आ. श्री विजयजिनेन्द्रसूरीश्वरजी म. ए कर्यु छे. आ ग्रंथर्नु प्रकाशन (1) पू.' आ. श्री विजय जिनेन्द्र सू. म. ना उपदेशथी श्री डोंबीवली पांडुडंगवाडी शांतिनगर श्री पार्श्वभक्ति श्वे. मू. जैन संघ, (2) पू. मु. श्री पुण्योदय वि. म. ना उपदेशथी कल्याण महावीर प्रभु चोक श्री राजस्थान संघ तथा (3) पू. सा. श्री कैवल्यरत्नाश्रीजी म. ना उपदेशथी थाणा तपागच्छ जैन संघ चातुर्मास समिति (4) सुरत खटोदरा कोलोनी शास्त्रीनगर श्री श्वे. मू. जैन संघ तरफथी प्रगट थयेल छे. तेमना सहकार माटे अनुमोदन करीए छीए. ता. 1-6-96 व्यवस्थापक जामनगर चत्रभुज मगनलाल महेता
SR No.004393
Book TitleNarbhavdrushtantopnaymala
Original Sutra AuthorN/A
AuthorJinendrasuri
PublisherHarshpushpamrut Jain Granthmala
Publication Year1996
Total Pages184
LanguageSanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size9 MB
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