________________ णिसीहसुत्तं उ. 9 979 उग्बाइयं वा अणुग्घाइयं वा उग्घाइयहेउं वा अणुग्धाइयहेउं उग्धाइयसंकप्पं वा अणुग्घाइयसंकप्पं वा सोचा णच्चा संभुंजइ सं जंतं वा साइजइ // 31 // जे भिवखू उग्गयवित्तीए अणत्थमियमणसंकप्पे संथडिए णिवितिगिच्छासमावष्णेणं अप्पाणेणं असणं या 4 पडिग्गाहेत्ता संभुंजमाणे, अह पुण एवं जाणेजा " अणुग्गए सूरिए अत्थमिए वा” से जं च (आसयंसि) मुहे जं च पाणिसि जं च पडिग्गहे तं विगिचिय विसोहिय तं परिवेमाणे (धम्म) णाइक्कमइ, तं अप्पणा भुंजमाणे अण्णेसिं वा दलमाणे राइभोयणपडिसेवणपत्ते / नो तं भुंजइ भुजंतं वा साइजइ // 32 // जे भिक्खू उग्गयवित्तीए अणत्थमियसंकप्पे संडिए वितिगिच्छाए समावण्णेणं अप्पाणेणं असणं वा 4 पडिग्गाहेत्ता संभुंजमाणे, अह पुण एवं जाणेजा "अणुग्गए सूरिए भत्थमिए पा"से जं च मुहे जं च पाणिसिज च पडिग्गहे तं विगिंचिय विसोहिय तं परिवेमाणे णाइक्कमइ, तं अप्पणा भुंजमाणे अण्णेसिं बा दलमाणे राइभोयणपडिसेवणपत्ते ।जो तं भुंजइ भुंजंतं वा साइजइ॥३३॥जे भिक्खू उग्गयवित्तीए अणत्थमियसंकप्पे असंथडिए णिव्वितिगिच्छासमावण्णेणं अप्पाणेण असणं वा 4 पडिन्गाहेत्ता सं जमाणे, अह पुण एवं जाणेजा "अणुग्गए सूरिए अत्थमिए वा” से नं च मुहे जं च पाणिंसि जं च पडिग्गहे तं विगिंचिय विसोहिय तं परिवेमाणे णाइक्कमइ, तं अप्पणा भुंजमाणे अण्णेसिं वा दलमाणे राइभोयण पडिसेदणपत्ते / जो तं भुंजइ भुजंतं वा साइजइ // 34 // जे भिक्खू उग्गयवित्तीए अणत्थमियसंकप्पे असंथडिए वितिगिच्छासमावण्णेणं असणं वा 4 पडिग्गाहेत्ता संभुज.माणे, अह पुण एवं जाणेजा " अणुग्गए सूरिए अत्थमिए वा” से जं च मुहे जं च पाणिंसि जं च पडिग्गहे तं विगिंचिय विसोहिय तं परिवेमाणे णाइकमइ (तं अप्पणा भुंजमाणे अण्णेसि वा दलमाणे राइभोयणपडिसेवणपत्ते) / जो तंभुंजइ भुंजंतं वा साइजइ // 35 // जे भिक्खू राओ वा वियाले वा सपाणं सभोयणं उग्गालं आगच्छेजा तं विगिचमाणे वा विसोहेमाणे वा णाइक्कमह तं उग्गिलित्ता पच्चोगिलमाणे राइभोयणपडिसेवणपत्ते, जो तं पच्चोगिलइ पच्चोगिलंतं वा साइजइ // 36 // जे भिक्खू गिलाणं सोचा ण गवेसइ ण गवसंतं वा साइजइ // 37 // जे 'भिक्खू गिलाण सोचा उम्मग्गं वा पडिपहं वा गच्छइ गच्छंतं वा साइजइ // 38|| जे भिक्खू गिलाणवेयावच्चे अब्भुट्टियस्स सएण लाभेण असंथरमाणरस जो तस्स ण पडितप्पइ ण पडितप्पंतं वा साइजइ // 39 // जे भिक्खू गिलाणवेयावच्चे अब्भु