________________ 888 अनंगपविट्ठसुत्ताणि हारिया बहवे अपारिहारिया इच्छेजा एगयओ अभिणिसेज्जं वा अभिणिसीहियं वा चेएत्तए, णो ण्हं कप्पइ थेरे अणापुच्छित्ता एगयओ अभिणिसेज्जं वा अभिणिसीहियं वा चेएत्तए, कप्पइ ण्हं थेरे आपुच्छित्ता एगयओ अभिणिसेज्जं वा अभिणिसीहियं वा चेएत्तए, थेरा य ण्हं से वियरेजा एव ण्हं कप्पइ एगयओ अभिणिसेज्जं वा अभिणिसीहियं वा चेएत्तए, थेरा य ण्हं से णो वियरेजा एव ण्हं णो कप्पइ एगयओ अभिणिसेज्जं वा अभिणिसीहियं वा चेएत्तए, जो णं थेरेहि अविइण्णे अभिणिसेज्ज वा अभिणिसीहियं वा चेएइ, से संतरा छेए वा परिहारे वा // 21 // परिहारकप्पट्ठिए भिक्खू बहिया थेराणं वेयावडियाए गच्छेजा, थेरा य से सरेजा, कप्पइ से एगराइयाए पडिमाए जणं 2 दिसं अण्णे साहम्मिया विहरंति तण्णं 2 दिसं उवलित्तए, णो से कप्पइ तत्थ विहारवत्तियं वत्थए, कप्पइ से तत्थ कारणवत्तियं वत्थए तंसि च णं कारणंसि णिट्ठियंसि पसे वएजा-वसाहि अज्जो! एगरायं वा दुरायं वा, एवं से कप्पइ एगरायं वा दुरायं वा वत्थए, णो से कप्पइ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वत्थए, जं तत्थ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वसइ से संतरा छेए वा परिहारे वा // 22 // परिहारकप्पट्ठिए भिक्खू बहिया थेराणं वेयावडियाए गच्छेजा, थेरा य णो सरेजा, कप्पइ,से णिव्विसमाणस्स एगराइयाए पडिमाए जण्णं जण्णं दिसिं अण्णे साहम्मिया विहरंति तण्णं तण्णं दिसं उवलित्तए, णो से कप्पइ तत्थ विहारवत्तियं वत्थए, कप्पइ से तत्थ कारणवत्तियं वत्थए, तंसि च णं कारणंसि णिट्ठियंसि परो वएजा-वसाहि अज्जो ! एगरायं वा दुरायं वा, एवं से कप्पइ एगरायं वा दुरायं वा वत्थए, णो से कप्पइ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वत्थए, जं तत्थ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वसइ, से संतरा छेए वा परिहारे वा // 23 // परिहारकप्पट्ठिए भिक्खू बहिया थेराणं वेयावडियाए गच्छेजा, थेरा य से सरेजा वा णो सरेजा वा कप्पइ से णिव्विसमाणस्स एगराइयाए पडिमाए जण्णं जण्णं दिसं अण्णे साहम्मिया विहरंति तण्णं तण्णं दिसं उवलित्तए, णो से कप्पइ तत्थ विहारवत्तियं वत्थए, कप्पइ से तत्थ कारणवत्तियं वत्थए, तांस च णं कारणंसि णिट्ठियसि परो वएजा-वसाहि अज्जो ! एगरायं वा दुरायं वा, एवं से कम्पइ एगरायं वा दुरायं वा वत्थए, णो से कप्पइ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वत्थए, जं तत्थ परं एगरायाओ वा दुरायाओ वा वसइ, से संतरा छेए वा परिहारे वा // 24 // जे भिक्खू य गणाओ अवकम्म एगल्लविहार