________________ 186 थी 24* द्रव्यकला, क्षेत्र, काल, दर्शन, सूत्र, अध्ययन, चारित्र, उपधि, संभोग, आलोचन, उपसंपदा, उद्देश, अनुशा, अध्व, अनुवासणा, स्थित, अस्थित, जिन, स्थविर अने अनुपालनाकल्प ए वीस प्रकारना कल्प निरूपण। 241 थी 295 द्रव्य, भाव, तदुभय, विरमण, साधारण, निर्विशन, अंतज्ञ, नक, नयांतर, स्थिन, अस्थित, स्थान, जिन, स्थविर, पर्युषणा, सूत्र, चारित्र, अध्ययन, उद्देश, वाचना, प्रतीच्छना, परावर्त्त, अनुप्रेक्षा, जात, अजात, आचीर्ण, अनाचीर्ण, संधान, चरण, उपपात, निशीथ, व्यवहार, क्षेत्र, काल, उपधि, संभोग, लिंग, प्रतिसेवना, अनुवासना, अनुपालना, अनुशा अने स्थापना ए बैंतालीस प्रकारना कल्पनुं निरूपण / 296 उपसंहार।