________________ 218 ] [ श्रीमदागमसुधासिन्धु : पञ्चमो विभागः एगिदियतिरिक्खजोणियणपुसकाणं बेइंदियतेइंदिय-चतुरिंदिय-पंचिंदिय-तिरिक्ख-जोणियणपुसकाणं जलयराणं थलयराणं खहयराणं मणुस्सणपुंसकाणं कम्मभूमिकाणं अकम्मभूमिकाणं अंतरदीवकाण य कतरे 2 हितो अप्पा 4, गोयमा ! सब्वत्थोवा अधेसत्तम-पुढवि-णेरइयणपुंसका छट्टपुढविनेरइयनपुंसका असंखेजगुणा जाव दोच्चपुढवि-ोरइयणपुसका असंखेजगुणा अंतरदीवगमणुस्सणपुसका असंखेजगुणा, देवकुरु-उत्तरकुरु-कम्मभूमिकमणुस्सणपुसका दोवि संखेजगुणा जाव पुव्वविदेह-अवरविदेह कम्मभूमगमणुस्सणपुसका दोवि संखेजगुणा, रयणप्पभापुढवि गोरइयणपुंसका असंखेजगुणा खहयर-पंचेंदिय-तिरिक्खजोणियनपुंसका असंखेजगुणा थलयर-पंचेंदियतिरिक्खजोणिय-गापुंसका संखिजगुणा जलयर-पंचेंदियतिरिवखजोणिय-णपुसका संखिजगुणा चतुरिंदियतिरिक्खजोणियणपुसका विसेसाहिया तेइंदिय-तिरिक्खजोणिय-गापुसका विसेसाहिया वेइंदिय-तिरिक्खजोणिय-णपुसका विसेसाहिया तेउकाइय-एगिदिय-तिरिक्खजोणिय-णपुसका असंखेजगुणा पुढविकाइय-एगिदिय-तिरिक्खजोणिय-णपुंसका विसेसाहिया श्राउकाइय-एगिदिय-तिरिक्खजोणियपुसका विसेसाहिया वाउकाइयएगिदिय-तिरिक्खजोणिय-णपुंसका विसेसाहिया वणस्सइकाइय-एगिदियतिरिक्खजोणियणपुसका अणंतगुणा॥सू. ६०॥णपुसकवेदस्स गां भंते! कम्मस्स केवइयं कालं बंधठिई पन्नत्ता ?, गोयमा ! जहणणेणं सागरोवमस्स दोनि सत्तभागा पलिग्रोवमस्स असंखेजतिभागेण ऊणगा उकोसेणं वीसं सागरोवमकोडाकोडीयो, दोरिण य वामसहस्साइं अबाधा, अवाहूणिया कम्मठिती कम्मणिसेगो 1 / णपुंसकवेदे णं भंते ! किंपगारे पराणते ?, गोयमा ! मेहाणगरदाहसमाणे पराणत्ते समणाउसो !, से तं णपुसका 2 // सू०.६१ / / एतेसि णं भंते ! इत्थीणं पुरिसाणं नपुसकाण य कतरे२हिंतो अप्पा वा 4 ?, गोयमा ! सम्बत्थोवा पुरिसा इत्थीयो संखिजगुणा णपुंसका