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________________ दिग्दर्शन ] . 37. जिसको आधुनिक वैज्ञानिक भी मानते हैं। आधुनिक वैज्ञानिकों को एक 'थेक्सस' नामक सूक्ष्म प्राणी की शोध लगी है, जो एक सुई के अग्र भाग पर एक लाख तक सरलतापूर्वक बैठ सकते हैं / सुप्रसिद्ध भारतीय वैज्ञानिक जगदीशचन्द्र बोझ ने वनस्पति के पौधों पर प्रयोग कर के यह प्रमाणित किया है कि उनमें भी संज्ञाएँ--वेदनाएँ ( Feelings ) हैं / ये बातें आज वैज्ञानिक प्रयोगों से प्रमाणित की जाती हैं, परन्तु जैनदर्शन ने इन्हें हजारों वर्ष पहले जाहिर कर दिया है-उस वक्त-जब कि यन्त्र-साधन का आविर्भाव न था; ऐसे युग में तीर्थंकरों ने अपने आत्मज्ञान-बल से इन बातों को प्रकाश में रक्खा था / इटालियन विद्वान् डा. एल. पी. टेसिटोरी ने जैनदर्शन को बहुत ऊँची पंक्ति पर रखते हुए यह कहा था कि-'इसके [जैनदर्शन के ] मुख्य तत्त्व विज्ञानशास्त्र के आधार पर रचे हुए हैं। और ज्यों ज्यों पदार्थ-विज्ञान आगे बढ़ता जाता है, जैनधर्म के सिद्धान्तों को सिद्ध करता है"। ___ अहिंसा का अर्थ हिंसा न करना ऐसा केवल निषेधपर ( Negative) नहीं है, किन्तु उसे विधायक अर्थ [ Positive form ] में भी समझना चाहिए। इस अर्थ में अहिंसा का अर्थ सद्भाव, सेवा, दया, सद्वृत्ति, अनुकम्पा, उपकार होता है Ahimsa in its positive form means the largest .. love, the highest sympathy, the greatest charity. .. यह समझना मुश्किल न होगा कि यह महान तत्स मनुष्यजाति में जितना ही अधिक विकसित होता है उतना ही उसमें पारस्परिक सद्भाव बढ़ता है। यह एक ऐसा बलवान सिद्धान्त है, जो जगत
SR No.004298
Book TitleJain Siddhant Digdarshan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorNyayavijay
PublisherBhogilal Dagdusha Jain
Publication Year1937
Total Pages50
LanguageSanskrit, Hindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size5 MB
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