SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 237
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ उत्थापित चल प्रतिमाएँ व यंत्र धातु की : 1. 2. 3. 4. 5. 6. 7. Jain cation International श्री पार्श्वनाथ भगवान की 9 ऊंची प्रतिमा है । श्री आदिनाथ भगवान की 10" ऊंची प्रतिमा है । श्री ऋषिमण्डल यंत्र ताम्बे का - 1 श्री सिद्धचक्र यंत्र - 1 श्री सिद्धचक्र यंत्र ताम्बे का - 1 श्री त्रिकोण यंत्र ताम्बे का - 2 श्री अष्टमंगल यंत्र - 1 श्री प्रतिमाएं - 2 8. निज मंदिर के बाहर : 1. 2. मेवाड़ के जैन तीर्थ भाग 2 श्री माणिभद्र यक्ष की 16 " ऊंची (हाथी पर सवार) प्रतिमा है । श्री महालक्ष्मी देवी की श्वेत पाषाण की 17" ऊंची प्रतिमा है। वार्षिक ध्वजा कार्तिक शुक्ला 15 को चढ़ाई जाती है । मंदिर की 9 दुकानें है, किराये पर दी हुई है। समाज की ओर से मंदिर की देखरेख श्री जगदीश कुमार दाणी व बसन्ती लाल जी राजमल जी जैन, धानमण्डी, प्रतापगढ़ द्वारा की जाती है । सम्पर्क सूत्र : 01478-223223 मोबाइल 9414396832 'पर पुरूष' और 'पर स्त्री' तो नर्क में ले जाने के प्रत्यक्ष कारण है। For Perso219yale Use Only ROCED www.jainelibrary.org
SR No.004220
Book TitleMewar ke Jain Tirth Part 02
Original Sutra AuthorN/A
AuthorMohanlal Bolya
PublisherAthwa Lines Jain Sangh
Publication Year2011
Total Pages304
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size41 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy