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त्यागी)] [ (शुभ) वि- (अशुभ) वि-(परित्यागिन्) 1/1 वि] भक्तिमान्यः [(भक्तिमान्) + (यः)] भक्तिमान् (भक्तिमत्) 1/। वि. यः (यत्) 1/। सवि. स मे [(सः) + (मे)] सः (तत्) 1/1 सवि. मे (अस्मद्) 4/1 स. प्रियः (प्रिय) 1/1 वि.
41. समः (सम) 1/1 वि शत्रौ (शत्रु)7!1 च (अ)= पोर मित्रे (मित्र)
7/1 च तथा (अ)=तथा मानावमानयोः [(मान)+ (अवमानयोः)] [(मान)-(अवमान) 7/2] शीतोष्णसुखदुःखेषु [(शीत) + (उष्ण) (सुख) + (दुःखेषु)] [(शीत)-(उष्ण)-(सुख)-(दुःख) 7/3] समः (सम) 1/1 वि सङ्गविजितः [(सङ्ग)-(विवृज-वि-वजित) भूक 1/1]
142. तुल्यनिन्दास्तुतिमौ नी [(तुल्य) + (निन्दा) + (स्तुतिः) + (मौनी)]
[(तुल्य) वि-(निन्दा)-(स्तुति) 1/1]. मौनी (मौनिन्) 1/1 वि. संतुष्टो येन केनचित् [(संतुष्टः) + (येन केनचित्)] संतुष्ट: (संतुष्) भूक 1/1. येन केनचित् (प्र) =जिस किसी से. अनिकेतः (अनिकेत) 1/1 वि. स्थिरमतिभंक्तिमान्मे [(स्थिरमतिः) + (भक्तिमान्) + (मे)] स्थिरमतिः (स्थिरमति) 1/1 वि. भक्तिमान् (भक्तिमत्) 1/1 वि. मे (अस्मद्) 4/1 स. प्रियो नरः [(प्रियः) + (नरः)] प्रियः
(प्रिय) 1/1 वि. नरः (नर) 1/1.. 143. प्रमानित्वमम्भित्वमहिंसा [(प्रमानित्वम्) + (अदम्भित्वम्) +
(अहिंसा)] अमानित्वम् (प्रमानित्व) 1/1. अहिसा (अहिंसा)] 1/1. शान्तिराजवम् [(क्षान्तिः)+ (प्रार्जवम्)] क्षान्तिः (क्षान्ति) 1/1. पार्जवम् (मार्जव) 1/1. प्राचार्योपासनं शौचं स्थैर्यमात्मविनिग्रहः [(प्राचार्य) + (उपासनम्) + (शौचम्) + (स्थर्यम्) + (प्रात्मविनिग्रहः)]
चयनिका
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