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37) दण्डलक्षण 38) असिलक्षण 39) मणिलक्षण . 40) काकणीलक्षण 41) चर्मलक्षण 42) चंद्रचर्या 43) सूर्यचर्या 44) राहुचर्या 45) ग्रहचर्या 46) सौभाग्यकर 47) दौर्भाग्यकर 48) विद्यागत
49) मंत्रगत 50) रहस्यगत 51) सभास 52) चारकला 53) प्रतिचारकला 54) व्यूहकला 55) प्रतिव्यूहकला 56) स्कन्धावारमान 57) नगरमान 58) वास्तुमान 59) स्कन्धावारनिवेश 60) वस्तुनिवेश
61) नगरनिवेश 62) इष्वस्त्रकला 63) छरुप्पवादकला 64) अश्वशिक्षा 65) हस्तिशिक्षा 66) धनुर्वेद 67) हिरण्यपाकादि 68) युद्धकला 69) खेलकला 70) पत्र-कटकछेद्य कला 71) सजीव-निर्जीव 72) शकुनिरुत
तालिका 02 - स्त्रियों की चौसठ कलाएँ 1) नृत्य
16) आकारगोपन 31) तत्कालबुद्धि 2) औचित्य
17) धर्मविचार 32) वास्तुसिद्धि 3) चित्र
18) शकुनविचार 33) कामविक्रिया 4) वाजिंत्र
19) क्रियाकल्प 34) वैद्यकक्रिया 5) मंत्र
20) संस्कृतजल्प 35) कुम्भभ्रम 6) तन्त्र
21) प्रासादनीति 36) सारिश्रम 7) ज्ञान 22) धर्मनीति
37) अंजनयोग 8) विज्ञान
23) वर्णिकावृद्धि 38) चूर्णयोग 9) दम्भ
24) सुवर्णसिद्धि 39) हस्तलाघव 10) जलस्तम्भ
25) सुरभितैलकरण 40) वचनपाटव 11) गीतमान
26) लीलासंचरण 41) भोज्यविधि 12) तालमान
27) हयगजपरीक्षण 42) वाणिज्यविधि 13) मेघवृष्टि
28) पुरूष-स्त्रीलक्षण 43) मुखमण्डन 14) जलवृष्टि
29) हेमरत्नभेद 44) शालिखण्डन 15) आरामरोपण 30) अष्टादालिपिपरिच्छेद 45) कथाकथन
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अध्याय 3 : शिक्षा-प्रबन्धन
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