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अनुत्तर योगी: तीर्थंकर महावीर
वीरेन्द्रकुमार जैन
नम्र सूचन इस ग्रन्थ के अभ्यास का कार्य पूर्ण होते ही नियत
समयावधि में शीघ्र वापस करने की कृपा करें. जिससे अन्य वाचकगण इसका उपयोग कर सकें.
श्री वीर निर्वाण ग्रंथ-प्रकाशन-समिति, इन्दौर
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