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अखिल भारतीय प्राच्यविद्या सम्मेलन , पूना 40वॉ चेन्नई- अधिवेशन , 28 29 30 मई 2000
अध्यक्षीय भाषण प्राकृत एवं जैनधर्म विभाग
प्राकृत और जैनधर्म का अध्ययन
(20वीं सदी के अंतिम दशक में )
STUDIES IN PRAKRIT AND JAINISM [ In the last decadeof the 20th Centuary ]
प्रोफेसर प्रेम सुमन जैन
आचार्य एवं विभागाध्यक्ष
जैनविद्या एवं प्राकृत विभाग मोहनलाल सुखाड़िया विश्वविद्यालय , उदयपुर
प्रकाशक श्री कुन्दकुन्द भारती प्राकृत संस्थान 18-बी स्पेशल इंस्टीट्यूशनल एरिया
नई दिल्ली -110067
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