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१८ सितम्बर -अंत्यक्रियाविधि के पूर्व का दृश्य (आचार्य श्री की पार्थिव देह के अंतिम दर्शन)।
१८ सितम्बर १९५५ महाराज का विमान पाण्डुक शिला पर। १०५ क्षुल्लक श्री पार्श्वकीर्तिजी (आचार्य विद्यानंदजी) सीढियों पर
विराजमान है। १८ सितम्बर - क्षुल्लक पार्श्वकीर्तिजी(आचार्य विद्यानंदजी)अंत्यक्रियाविधि में
आगम निर्देशित पाठ का वाचन करने को उद्यत ।
१८ सितम्बर १९५५
आचार्य श्री को दी जाने वाली मुखाग्नी के समीप विराजमान आचार्य श्री के अंत्यसंस्कारविधि के अंतर्गत आगम निर्देशित पाठ का वाचन करने की तैयारी सहित क्षुल्लक १०५ श्री पार्श्वकीर्तिजी(आचार्य श्री विद्यानंदजी)।
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