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________________ ४४ अहत-अहिक्खिव अहत (अहत) दसा० १०।२४ अहत्थच्छिण्ण (अहस्तच्छिन्न) नि० १४१६ १८।३८ अहपंडुर (यथापण्डर) दसा० ७।२०.५० ४२ अहम (अधम) उ० ६।५४; १३।१८।। अहमपुरिस (अधमपुरुष) अ० ३६०१२ अहम्म (अधर्म) द० ६।१६. उ० ४।१३; ५।१५; ७।२८,१४।२४; १७।१२, २८१७ से 8; ३६।५ अहम्मलेसा (अधर्मलेश्या) उ० ३४५६ अहम्मसेवि (अधर्मसेविन्) द० चू० १।१३. दसा० है।३५ से ३८,४०,४१; १०१३,५ अहाथाम (यथास्थामन्) दसा० ४।२३ अहापडिरूव (यथाप्रतिरूप) दसा० १०॥३,६ अहापणिहित (यथाप्रणिहित) दसा० ७।३३ अहापरिग्गहिय (यथापरिगहीत) क०३।१४,१५ अहाबायर (यथाबादर) प० १५ अहामग्ग (यथामार्ग) दसा०७।२५,३५. प० २८७. व०६।३५ से ३८,४०,४१; १०३,५ अहाराइणिय (यथारानिक) क०३।१८ से २०. व० ४।२६ से ३२,८१ अहारिय (यथेर्य) दसा० ७।१७ से २० अहारिह (यथाह) दसा० १०॥३४. क० ४।२६. व० ११३३; ६।१०,११; ७।१ से ३ अहालंद (यथालन्द) प०२३१. क० २११,४ से ८; ३।२८ से ३२. व० ४।२० से २३; ७।२७ अहालहुय (यथालघुक) दसा० ६।३ अहालहुसग (यथालघुस्वक) दसा० ६।३. व० ८।२ अहम्माणुय (अधर्मानुग) दसा०६।३ अहम्मिट्ठ (अमिष्ठ) उ०७।४,२८. दसा ६।३ अहम्मिय (अधार्मिक) दसा० ६।३; १०२४ से २८ अहह्य (अहत) दसा० १०।११. १० ४२. नि०६। से ४ अहर (अधर) द० चू० १ सू० १ अहरो? (अधरौष्ठ) ५० २६१ अहव (अथवा) अ० ४६३ अहवा (अथवा) उ० ३०।१३. नं० ८. अ० ४०. प०२५० अहस्सिर (अहसित) उ० १११४ अहाउय (यथायुष्) उ० ३।१६; २६।७३ अहाकप्प (यथाकल्प) दसा० ७।२५,३५. ५० २८७. व० ४।१३,१४,५।१३,१४; 8।३५ से ३५, ४०,४१; १०॥३,५ अहागड (यथाकृत) द० ११४ अहाच्छंद (यथाच्छन्द) उ० २०१५०. नि० ११॥ ८३,८४ अहाच्छंदविहार (यथाच्छन्दविहार) १० ११२७ अहाच्छन्न (यथाच्छन्न) ५०२५३ अहाणुपुव्वी (यथानुपूर्वी) उ० ३२।६. वसा० १०॥ १०,१४ अहातच्च (यथातथ्य) दसा० ५।७।३; ७।२५. व. अहालहुसय (यथालघुस्वक) क० ५।४०. २०१६ से १७; ८।१३,१४ अहावच्च (यथापत्य) ५० १८८,१८६,१६१ से १६३,१६६,२०३,२०७,२१४,२१७ अहाविधि (यथाविधि) दसा० ४।२० अहाविहि (यथाविधि) दसा० ७।२१,२८,३१,३३ अहासंथड (यथासंस्तत) दसा० ७१३ से १५ अहासन्निहिय (यथासन्निहित) ५० २७७ अहासुत्त (यथासूत्र) दसा० ७।२५,२८,३१,३५. प० २८७. व० ६।३५ से ३८,४०,४१,१०।३, अहासुहुम (यथासूक्ष्म) प० १५ अहि (अहि) उ० १६।३८; ३४।१६; ३६।१८१. अ० ३५१ अहिंसया (अहिंस्रता) उ० ३१८ अहिंसा (अहिंसा) द० १।१; ६।८. उ० २१।१२ Vअहिक्खिव (अधि+क्षिप्)-अहिक्खिवई उ० १११११ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.003556
Book TitleNavsuttani
Original Sutra AuthorN/A
AuthorTulsi Acharya, Mahapragna Acharya
PublisherJain Vishva Bharati
Publication Year2000
Total Pages1316
LanguagePrakrit
ClassificationBook_Devnagari, Agam, & Canon
File Size29 MB
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