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अमिट रेखाएं
जिज्ञासा पर राजकुमार ने स्वर्ण - अश्व की सारी घटना सुना दी, मैंने आते और जाते मार्ग का पता लगा लिया था ।
राजकुमारी स्वर्णलता के साथ उत्साह के क्षणों में पाणि ग्रहण सम्पन्न हुआ, और सभी बन्दी राजकुमारों को मुक्त कर दिया। सर्वत्र राजकुमार के बुद्धि-कौशल की प्रशंसा होने लगी ।
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