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पावस-प्रवास
चा० सं० अग्रगण्य नाम (दी० ऋ०) गांव ठाणा सहयोगी मुनि १९५२ साध्वीश्री पारवतांजी (३३५) माधोपुर १९५३ , रायकंवरजी (३२८) चितामा १९५४ , बख्तावरजी (३२६) गंगापुर ५ १९५५ मुनिश्री कालूजी (१६३) रेलमगरा ४ १९५६ आचार्यश्री डालगणी उज्जैन संत २६ साध्वी-प्रमुखा जेठांजी
आदि २५ । १९५७ साध्वीश्री चांदांजी (३८७) बीदासर ५ १६५८ , रायकंवरजी (३२८) चितामा १९५६ लिछमांजी (४६४) सुजानगढ़
६० , सिरेकंवरजी (४५६) चांदारूण १६६१ , किस्तूरांजी (३३२) पोटला । १९६२ , गंगाजी (४४४) मांडा । १९६३ आचार्यश्री डालगणी उज्जैन संत २७ साध्वी-प्रमुखा जेठांजी
आदि ४६। १९६४ साध्वीश्री कानकंवरजी (५४१) श्रीडूंगरगढ़ ५ १९६५ , भूरांजी (३७८) लाडनूं १९६६ , मकतूलांजी (३८५), १९६७ आचार्यश्री कालूगणी छापर संत १६ साध्वी-प्रमुखा जेठांजी
आदि ४६ । १९६८ साध्वीश्री सिरेकंवरजी (४५६) चांदारूण १६६६ , रतनांजी (६२४) सुजानगढ़ १६७० , सुवटांजी (५८४) राजलदेसर १६७१ मुनिश्री पृथ्वीराजजी (२१६) उदयपुर १९७२ साध्वी-प्रमुखा जेठांजी (३४०) चूरू '६७३ मुनिश्री रंगलालजी (३३६) राजाजी का करेड़ा ४ ३७४ आचार्यश्री कालूगणी छापर संत २५ साध्वीश्री कानकंदरजी'
आदि २४ ॥ १९७५ साध्वीश्री लिछमांजी 'बड़ा' (४९४) सुजानगढ़ ६ १९७६ मुनिश्री नथमलजी (३२८) रीछेड़ १९७७ साध्वीश्री रतनांजी (६२४) सुजानगढ़ १. साध्वी-प्रमुखा जेठांजी राजलदेसर में स्थिरवास कर रही थीं।
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