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अध्याय
• राजधर्म
विषय
१. प्रस्तावना
२. राज्य के सात अंग
३. राजा के कर्त्तव्य और उत्तरदायित्त्व
४. मन्त्रिगण
५. राष्ट्र
६. दुर्ग ( किला या राजधानी )
७. कोष
८. बल (सेना)
६. सुहृद्या मित्र
१०. राजधर्म के अध्ययन का उद्देश्य एवं राज्य के ध्येय
विषय-सूची
तृतीय खण्ड
• व्यवहार न्याय-पद्धति
११. व्यवहार का अर्थ, व्यवहार- पद, न्यायालयों के प्रकार आदि
१२. भुक्ति ( भोग ) १३. साक्षीगण
१४. दिव्य
१५. सिद्धि (निर्णय)
१६. समय ( संविदा, करार)
१७. अस्वामिविक्रय
१८. सम्भूय समुत्थान ( साझेदारी)
१६. दत्तानपाकर्म
२०. वेतनस्यानपाकर्म, अभ्युपेत्याशुश्रूषा एवं स्वामिपाल विवाद
२१. संविद् - व्यतिक्रम एवं अन्य व्यवहार पद
२२. सीमाविवाद
२३. वाक्यपारुष्य एवं दण्डपारुष्य
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