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संज्ञा शब्द पंचमी बहुवचन
अकारान्त पुल्लिंग
इकारान्त पुल्लिंग
उकारान्त पुल्लिंग
अकारान्त नपुंसकलिंग
इकारान्त नपुंसकलिंग
उकारान्त नपुंसकलिंग
सो
तुहुं
हउं
पंचमी बहुवचन
नरिंदहु / नरिंदाहुं
सामिहुं / सामी
साहुहु/ साहूहु
अपभ्रंश रचना सौरभ
पाठ 72
संज्ञा
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संज्ञाएँ
नरिंद = राजा
सामि = स्वामी
साहु = साधु
रज्ज = राज्य
वारि = जल
वत्थु = पदार्थ
/ आद
नोट - इसी प्रकार अन्य वाक्य बना लेने चाहिए ।
पंचमी बहुवचन
नदिहु / नरिंदाहुं
सामिहुँ / सामी
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साहुहु/ साहूहु
रज्जहुँ / रज्जाहुं
वारिहुं / वारीहुँ
= वह राजाओं से डरता है ।
वत्थहुं / वत्थूहुं
डर / आदि = तुम स्वामियों से डरो।
पढ़उं / आदि = मैं साधुओं से पढ़ता हूँ ।
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