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टण होता
कीत थ द धन
III
। स्वाहा
ॐहीट ठ डर
। स्वाहा
ॐहींचछजझस
स्वाहा ।
स्वाहा
जहांहीं हूं हौंहः असि आ उसा श्री हैं मम इष्ट शुभ कुरु कुरु स्वाहा
ॐही पफस
वं
*कखग घड
मम | अहीं यर
स्वाहा
___ स्वाहा
सरल व
ॐॐहीं कर
ॐ
SESSULELE
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बोधिसमाधि यन्त्र
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