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क० १२, १-९; १, 1-3] एगारहमो संघि
[१२]] "आएं समाणु किर कवणु खत्तु घाइज्जइ णासन्तो विं सत्तु ॥ १ जं फिट्टइ जम्म-सयहिँ काणि' किर जाम पधावई सूल-पाणि ॥ २ अवरुण्डेंवि धरिउ विहीसणेण 'किं कायर-णर-विद्धंसणेण ॥ ३ सो हम्मई जो पहणई पुणो वि किं उरँउ म जीवर्ड णिव्विसो वि ॥ ४ । णासउ वराउ णिय-पाण लेवि' थिउ भाणुकण्णु मच्छरु मुऍवि" ॥५ एत्थन्तरें वइसवणहों मणिगु सु-कलत्तु व पुप्फ-विमाणु दिट्ट ॥६ तहिँ चडिउ णराहिउँ मुऍवि सङ्क पट्टविय पसाहा के वि लङ्क ॥ ७ अप्पुणु पुणु जो जो को" वि चण्डें तहों तहों ढुक्कइ जिह काल-दण्डु ॥ ८ .
॥ घत्ता ॥ णिय-वन्धव-सयणेंहिँ" परियरिउ दणुवइ दुदम-दमन्त । आहिण्डइ लीलऍ इन्दु जिह देस-स यं भु अन्तउ ॥ ९
[११. एगारहमो संधि] पुप्फ-विमाणारूढऍण दहवयणें धवल-विसालाई। । णं घण-विन्द अ-सलिल' दिदुइँ हरिसेण-जिणीलाइँ ॥१॥15
[१] तोयदवाहणं-वंसं-पईवें पुच्छिउ पुणु सुमालि दहगीवें ॥१ 'अहाँ अहो ताय ताय ससि-धवलइँ एयइँ किंग जलुग्गर्य-कमलइँ ॥२ कि हिम-सिहर साडेंवि मुक्कइँ किं णक्खत्तइँ थाणहों चुक्कइँ ॥३ दण्डुदण्ड-धवल-पुण्डरिय किं काह "मि सिसुप्परि धरिय. ॥ ४ ॥ अब्भारम्भ-विवजिय-गब्भइँ कि भूमियले गयइँ सुब्भब्भैइँ ॥५ . किय-मङ्गल-सिङ्गार-सहास' किं" आवासियाइँ कलहंसइँ॥६ ___ 12. 15 आयं. 2 P adds m above the line. 3 PS , A जे. 4 A सयहो वि. 5 P s जाव. 6 PS एधावह. 7 P हम्मई. 8 P A पहणइं. 9 P जीवड, s जीवह. 10 A वगउ. 11 A सुएवि. 12 इत्थंतरि. 13 PS पुष्फविमाणु. 14 A राहिउ. 15 A missing. 16 P चंदु. 17 A सयणहं. 18 P S दुहमदंतउ. 19 PS चंदु. 20 P सइ, A सई.
1. 1 P विसालएं, विसालई. 24 °वंदइ. 3 PS °जिणालई. 4 PS तोयदवाहणु. 52 वसि, बंस. 6A पईवे. 7 PS तु. 8 A जलग्गय.9 सण्डे वि, A साडिवि. 10 Pणखत्तई, Sणखत्तइ. 11 P चंदुदंडु, s चंडुइंडु. 12 P कहि मि, S कहंमि, A काहवि. 13 A यई. 14 A कियभूमियभूमियलि. 15 s गयंदु. 16 P सुभवई, s सुसुब्भई, 4 सुब्भन्भइ. 17 A किय.
[१२] १ धनदेन सह. २ कुम्भकर्णः त्रिशल-करे कृतः (१). ३ सर्पः. [१] १ छत्राणि.
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