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तमारे इशारे तमारी कपाथी
(राग : तुं प्रभु मारो हुं प्रभु तारो..) तमारे इशारे तमारी कृपाथी, जगतमां बधुंये बने छे बने छ तमारी झलक तो खलकना अणुओ, अणुमां गजबनी झगे छे झगे छे... पेला चांद सूरज सितारा गगनमां, तमारा ज तेजे चमकतां गगनमां, तडकती तडितने भभकता अगनमां, बधे ज्योति तारी जले छे जले छे.
वसमी हवामां खीलेलां चमनमां, पहाडो खीणोने वृक्ष कुंज वनमां,
सरोवर कूवाओ ने नदी झरणामां, बधे व्हाल तारुं झरे छे झरे छे... प्रभु तारी पाछळ बन्यो हुं दीवानो, तने छोडीने हुंक्यांय ना जवानो, मने मूकीने तुं क्यां रे जवानो, नजर तारी पाछळ फरे छे फरे छे.
जगतना अणुओ अणुओना राजा, पुकाएं तने मारी भीतर आजा,
मने छोडीने नाथ तुंक्यांय ना जा, मिलनमां विघन शुं नडे छे नडे छे.... बनी मात तुं गोद मांही रमाडे, बनी तात तुं शिखरो ओ चढावे, बनी नाथ तुं प्रीत पथ पर चलावे, तमाएं चलाव्युं चले छे चले छे...
फूल नहि तो पांखडी
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(राग : फूल तुम्हे भेजा है...) फूल नहि तो पांखडी प्रभु, तारा चरणे धरवी, जनमो जनमनी तन मन धननी, मोह वासना हरवी...
तारी कृपाथी जे मल्यु छे, ते छे सघळु ताई, स्वार्थने अभिमानथी हुँ करतो मा माएं, आ जगनी सौ माया ममता, तारा चरणे धरवी...
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