________________
घेर बेठां तस ध्यान धरे जे, (२) ।
भवचोथे सिद्धपद धरशे. जय जय गिरनार जय जय नेमिनाथ; जय जय गिरनार जय जय नेमिनाथ...४
जिनशासनना इतिहास... (राग : जिनधर्मना जैनबंधु गाई रह्या...) जिनशासनना इतिहासना, बोली रह्या सुवर्ण पाना,
शाश्वतगिरि शत्रुज्य अने गिरनार गिरि लेखाणा. जय गिरनार जय नेमिनाथ जय बोलो अनंताजिननी गिरिवरना गुण गाता गाता वरसे सुखनी हेली,
जय जय बोलो गिरनारनी... जय जय बोलो गिरनारनी...१ वस्तुपाळने तेजपाळना भव्य जिनालय गिरनारे, कुमारपाळने संप्रति केरा दिव्य देवालय गिरनारे, जय सिद्धराज जय साजनजी जय बोलो गिरिवर भक्तनी.
गिरिवरना गुण गाता गाता...२ पेथड झांझण धारे रेडी, रक्तधारा आ गिरनारे, शासन केरी शान वधारी, भेखधरी आ गिरनारे, . जय आमराज जय रत्नाशा जय बोलो भरतचक्रीनी.
गिरिवरना गुण गाता गाता...३ आचारज बप्पभट्टजी आवे, युद्धवारे श्री गिरनारे, हेमचंद्र मानदेव सुरिजी, कलेश निवारे श्री गिरनारे, जय आनंदसूरि जय भद्देश्वरसूरि जय बोलो'श्री वरदत्तनी.
गिरिवरना गुण गाता गाता...४