________________
है साथ ही उतने कमज़ोर भी होते हैं। इन चीज़ों को सावधानी से संभालते कभी किसी कारणवश ये चीजें हाथ से नीचे गिर जाए तो इनके टुकड़े-टुकड़े हो जाते हैं। प्लास्टीक टूटा हो तो उसे जोड़ने का सॉल्युशन मिल जाता है। लकड़ी की चीजें टूटती है तो उसे जोड़ने का सॉल्युशन भी मिल जाता है। कपड़े फटते है तो उसे भी सीया जा सकता है, लेकिन आज तक काँच को जोड़ने का कोई सॉल्युशन नहीं आया। मान लो यदि कभी जुड़ भी जाए फिर भी उसके बीच में दरारें तो रहेगी ही। बस इसी काँच की तरह होता है स्त्री का शरीर कोमल-कमज़ोर और आकर्षक। एक बार उसका शील खंडन हो जाए तो फिर वह कभी भी प्राप्त नहीं हो सकता। इसलिए स्त्रियों के लिए उपरोक्त इतनी सावधानी बरतना स्वयं के लिए अति हितावह है। डॉली - बाप रे बाप! स्त्रियाँ इस तरह नियंत्रणों में कैसे रह सकती है ? कहीं आना नहीं, कहीं जाना नहीं, किसी से बात नहीं करना, किसी से हँसी-मज़ाक नहीं करना, किसी के साथ बाहर घूमने नहीं जाना। इतने सारे नियंत्रण। मोक्षा - डॉली! तुम्हारी सोच के मूल में ही खराबी है। जिसे तुम नियंत्रण मान रही हो वह नियंत्रण नहीं बल्कि उसी में स्त्री की सुरक्षा है। आज व्यक्ति अपने जीवन को सुरक्षित रखने के लिए क्या कुछ नहीं करता? तुम ही बताओ विष्टा में हाथ डालते हुए छोटे बच्चे को रोकना, वह उस पर नियंत्रण होगा या सुरक्षा? जवाहरात को पेटी या तिजोरी में बंद करके रखा जाता है तब वह जवाहरात पर नियंत्रण होगा या उसकी सुरक्षा? अरे! नारी तो रत्नों की पेटी है। उसके पास शील रूपी एक ऐसा रत्न है जिसे चुराने के लिए गुण्डे फिर रहे हैं। जिस प्रकार जवाहरात तिजोरी में सुरक्षित है, ठीक उसी प्रकार अपने शील रूपी रत्न की सुरक्षा के लिए नारी को नियंत्रण में रहना ही अच्छा है, न कि स्वतंत्रता से बाहर घूमना और वैसे भी काँच के प्यालों की प्रदर्शनी होती है, रत्नों के पेटी की नहीं। डॉली- (ताली बजाते हुए) वाह मोक्षा वाह! कॉलेज की सारी क्लासेस् अटेंड करने के कारण और सर के सारे लेक्चर सुनने के कारण तुम भी काफी अच्छा लेक्चर देने लग गई हो। मेरे ख्याल से तुम्हें नेता बनना चाहिए था। O.K. Now Stop!! इस टॉपिक पर मुझे कोई डिस्कस नहीं करना। तुम तुम्हारी लाईफ जीओ और मैं मेरी। क्या सही है और क्या गलत ये तो वक्त ही बताएगा। चलो मैं चलती हूँ, समीर मेरा इंतजार कर रहा होगा। मोक्षा- डॉली! मैंने तुम्हारे और समीर के बारे में बहुत सारी बातें सुनी है। क्या ये सच है? डॉली- मोक्षा! अब तुम से क्या छिपाना। यह बिल्कुल सच है, समीर मुझसे बहुत प्यार करता है और मैं भी।