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________________ का संक्षिप्त वर्णन शास्त्रीय पद्धति और इतिहास के आधार पर किया गया। अब यहाँ मूर्तिपूजा-विषयक संक्षिप्त प्रश्नोत्तरी का मात्र दिग्दर्शन करवाया जाता है [१] प्रश्न-जिनेश्वर भगवान की मूर्ति-प्रतिमा कितने निक्षेपों से पूजित होती है ? उत्तर-जिनेश्वर भगवान की मूत्ति-प्रतिमा कम-सेकम चार निक्षेपों से अवश्य पूजित होती है । [ २ ] प्रश्न-वे चार निक्षेप कौन-कौनसे हैं ? उनका स्वरूप क्या है ? उत्तर-नाम, स्थापना, द्रव्य और भाव इन चार निक्षेपों के नाम आगमशास्त्र में आते हैं। वे नामनिक्षेप, स्थापनानिक्षेप, द्रव्यनिक्षेप और भावनिक्षेप से कहे जाते हैं। (१) वस्तु-पदार्थ के आकार और गुण से रहित जो नाम, वह 'नामनिक्षेप' कहा जाता है। जैसे-जिनेश्वर मूत्ति की सिद्धि एवं मूर्तिपूजा की प्राचीनता-२३६
SR No.002340
Book TitleMurti Ki Siddhi Evam Murti Pooja ki Prachinta
Original Sutra AuthorN/A
AuthorSushilsuri
PublisherSushilsuri Jain Gyanmandir
Publication Year1990
Total Pages348
LanguageSanskrit, Hindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size15 MB
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