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________________ जैन न्यायको आ.अकलंबवका अबढाम राष्टीयबिटलसंगोलीस सेट साग्निस--पूरउया. १०८ रमी महाराज जनन्यायको अ-अकलंकदेव का अवदान राष्ट्रीयविद्वतसंगोष्ठीयाअक्टू-से 29 अक्टू1996 निध्य परम पूज्य उपा-२०८ श्री ज्ञान सागरजी महाराजापपराका योजका सलदिएबर जैन पुरविगर परम या उपाध्याय सालसाजीमहाराज सगाष्ठाशअक्टू-सेट अक्ट-1996 ससंघसंगातलन शाशनसागरजी महाराज आपका न न्दन पशाह शाहपुर में दिनांक 27-10 से 29-10 में विद्वत संगोष्ठी के उद्घाटन सत्र में डा0 अशोक जी बोलते हुये एवं अन्य विद्वतगण मंच पर बैठे हुये। परमपूज्य उपाध्याय 1087 व का अवदान T27 अक्टू-से 29 अक्टू-1996 ना महाराज के ज्ञानसागरजीमहाराज शाहपुरन ससंघलब योगा आपका सदका सकल HO शाहापुर अकलंक संगोष्ठि में मंच पर आसीन देश के प्रख्यात विद्वान डा. कस्तुरचन्द्र कासलीवाल जयपुर, डा. उदयचन्द्र जी सर्वदर्शनाचार्य बनारस, डा. फूलचन्द्र प्रेमी बनारस, प. शिव चरण लाल जी मैनपुरी, डा. रमेश चन्द जैन बिजनौर, डा. श्रेयास कुमार जैन बड़ौत, डा. जय कुमार जैन मु. नगर
SR No.002233
Book TitleJain Nyaya me Akalankdev ka Avadan
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKamleshkumar Jain
PublisherPrachya Shraman Bharati
Publication Year1999
Total Pages238
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari
File Size23 MB
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