SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 36
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ सुलभधातुरूपकोशः ३१. Pres. Part वर्त धातु. विशे Aot. Pass. कर्तरि फर्मणि Pot. Pass. Part. विध्यर्थ धातु. विशे० Past Pass. Infin. of Gerund or | Part. | Purpose | Absolutive भूतकाल धातु० हेत्वर्थक धातु पूर्वकाल० धातु विश० अव्यय । अव्यय मान नमत् नम्य- नन्तव्य, नमनीय,नम्य नत । नन्तुम् नत्वा, (विनम्य, विनत्य) नत्यत् नश्यमान नशितव्य, नंष्टव्यः | नट, (प्रणष्ट) नशितुम् , नशित्वा, नष्टा, नशनीय; नाश्य । __ नंष्टुम् । नंया नाटयत् , नाट्य- नाटयितव्य, नाटनीय, नाटित नायित्वा नाटयमान • मान नाव्य नेतुम निन्दित्वा (विनिन्द्य) नीत्वा (प्रणीय) नर्तितुम् नर्तित्वा, (प्रत्य) पतुम् पक्वा , (विपच्य) पठित्वा, (प्रपठ्य) पतित्वा, निन्दत् निन्द्य- निन्दितव्य, निन्दनीय, निन्दित । निन्दितुम् मान निन्द्य नयत् , नीयमान नेतव्य, नयनीय, नेय नयमान नृत्यत् नृत्य- नर्तितव्य, नर्तनीय, . मान नृत्य .. पचत्, पच्य- पकव्य, पचनीय, पचमान मान पाक्य पठत् पठ्यमान पठितव्य, पठनीय, पठितुम् पाठ्य पतत् पत्यमान पतितव्य, पतनीय, पतितुम् - पात्य उत्पद्य- उत्पद्य- उपत्तव्य, उत्पदनीय, उत्पत्तुम् मान मान उत्पाद्य । | पिवत् पीयमानापातव्य, पानीय, पेय पारयत्, पार्य- पारयितव्य, पारणीय, पारयितुम् पारयमाण माण पार्य पाडयत्, पीज्य-पीडयितव्य, पीडनीय, पोडयितुम् पीडयमान मान पीज्य पुष्यत् पुष्यमाण पोष्टव्य, पोषणीय, पोष्य (निपत्य) उत्पद्य पातुम् पीत्वा, (निपीय) पारयित्वा पीडयित्वा, (निपीड्य) ___पुष्ट्वा, पोष्टम् (संपुष्य)
SR No.002219
Book TitleSulabh Dhatu Rup Kosh Part 01 02 03
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKrushnaji B Virkar, Kulchandravijay
PublisherJinshasan Aradhana Trust
Publication Year
Total Pages284
LanguageHindi, Sanskrit
ClassificationBook_Devnagari
File Size19 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy