SearchBrowseAboutContactDonate
Page Preview
Page 547
Loading...
Download File
Download File
Page Text
________________ श्रु०१ अ०७ विपाक-सूची ङ- बृहस्पतिदत्त का पद्मावती के साथ अनुचित सम्बन्ध. प्राणदण्ड च- वृहस्पतिदत्त की आत्मा का भवभ्रमण छ- हस्तिनापुर में सेठ के घर जन्म-यावत्-महाविदेह से निर्वाण षष्ठ नन्दिवर्धन अध्ययन [कठोर दण्ड और पितृवध संकल्प का फल] २६ क- उत्थानिका. मथुरानगरी. भण्डीर उद्यान. सुदर्शन यक्ष. श्री दाम राजा. बन्धु श्री भार्या. नन्दीवर्धन कुमार. सुबन्धु अमात्य. बहुमित्र पुत्र. चित्र अलंकारिक [नापित] ख- भ० महावीर का समवसरण. धर्म प्रवचन. गौतम गणधर की भिक्षाचर्या. राजमार्ग में देह दाह दण्ड का दृश्य ग- पूर्वभव पृच्छा. जम्बूद्वीप. भरत. सीहपुर. सीहरथ राजा. दुर्योधन प्रमुख कारागृहाधीक्षक घ- बन्दियों को दिये जाने वाले विविध प्रकार के कठोर दण्ड ङ- पुर्णायु. मृत्यु. नरक गमन २७ क- दुर्योधन की आत्मा का नन्दिसेन के रूप में जन्म ख- युवा नन्दिसेन की राज्यलिप्सा ग- चित्र अलंकारिक ने राजा को नन्दिसेन के षड्यंत्र की जान कारी दी ङ- नन्दिसेन वध की राजाज्ञा. पूर्णायु. मृत्यु. पश्चात् नरक गमन च- नन्दिसेन की आत्मा का भवभ्रमण छ- हस्तिनापुर में सेठ के घर जन्म. बोधि की प्राप्ति. आगार धर्म की आराधना. समाधि मरण. सौधर्म कल्प में उत्पत्ति. महा विदेह से निर्वाण पद की प्राप्ति सप्तम उम्बरदत्त अध्ययन [मांस चिकित्सा का फल २८ क- उत्थानिका, पाडलसंड नगर, वन खण्ड उद्यान, उंबरदत्त यक्ष, Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.001931
Book TitleJainagama Nirdeshika
Original Sutra AuthorN/A
AuthorKanhaiyalal Maharaj
PublisherAgam Anuyog Prakashan
Publication Year1966
Total Pages998
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari, Agam, Canon, Ethics, & agam_index
File Size9 MB
Copyright © Jain Education International. All rights reserved. | Privacy Policy