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एक्कारसति ति दो दो, दो दो उद्देसएहि नायव्वा । सत्य अट्ठय नवमा, इक्कसरा होंति अज्झयणा' ।। आयारस्स निज्जुत्ती सम्मत्ता
१. नंदी हारिभद्रीय टीका में इन दोनों गाथा का संकेत देने वाली संग्रह गाथा मिलती है । परन्तु उसके अध्ययन के उद्देशकों की संख्या में भिन्नता है
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'सत्त य छच्चउ चउरो छ
एक्कार ति ति य दो दो
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निर्युक्तिपंचक
पंच अट्ठेव सत्त चउरो य ।
दो दो सत्तेक्क एक्को य ॥ '
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