________________
१३८
पंचसंग्रह : ८
गाथांक
पृष्ठांक
२८
७७
६६
४8
गाथा सामित्तद्धाच्या इह सुभगाइ उच्चगोयं सुयकेवलिणो मइसुय सेसविगप्पा दुविहा सेसाणं जह बंधे होइ सेसाणं वेयंतो मज्झि हयसेसा तित्थठिई हस्सट्ठिई पज्जत्ता तन्नामा हासरईसायाणं अंतमुहुत्त हासाईछक्कस्स उ जाव हुण्डोवघायसाहारणाण
७७
Jain Education International
For Private & Personal Use Only
www.jainelibrary.org