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पासनाह चरियं-देवभद्र सूरि कृत (मणिविजय गणि ग्रन्थमाला, लींच, गुजरात, १९४५ ई.)
पृथ्वीचंद्र चरित्र-लब्धिसागर सूरि-कृत । कुमारपाल चरित्र-हेमचंद्राचार्य-रचित (बाम्बे संस्कृत सीरीज़ )
पद्मानंद महाकाव्यं-अमरचंद्र सूरि कृत (गायकवाड़ ओरियंटल सीरीज, बड़ौदा) -
जैन-चित्र-कल्पद्रुम (सम्पादक साराभाई नवाब, सन् १९३६ ई० )
सुपासनाह चरियं-लक्ष्मण गरिण विरचित (जैन विविध साहित्य शास्त्र माला, वाराणसी, १६१६ ई०)
पद्मचरितं-रविषेणाचार्य कृत, ३ भाग (माणिकचन्द्र जैन ग्रन्थमाला, १९८५ वि० )
पउमचरिय-विमलसूरि-रचित (जैन धर्म प्रसारक सभा, भावनगर, १९१४ ई०) ___ हरिवंश पुराण-जिनसेन सूरि-कृत, २ भाग (माणिक्यचन्द्र जैन ग्रन्थ-- माला, बंबई) ____ वरांगचरितं-जटासिंह नन्दि-विरचित ( संपादक ए. एन. उपाध्याय, माणिकचन्द्र दिगम्बर जैन ग्रंथमाला, बंबई)
उत्तरपुराण-आचार्यगुणभद्र-रचित (मूर्तिदेवी जैन ग्रन्थमाला, वाराणसी) दशभक्ति-आचार्य पूज्यपाद विरचित । वर्द्धमान-चरित्र-असग-रचित ।
भरतेश्वर बाहुबलि वृत्तिः २ भाग, ( देवचंद लालभाई जैन पुस्तकोद्धार फंड, १९३३) ऋषिमंडल प्रकरण वृत्ति सहित (बलाद, १६३६ ई० )
अंग्रेजी त्रिषष्टिशलाकापुरुष चरित्र ४ भाग (अंग्रेजी-अनुवाद) एलेन जानसन, बड़ोदा ओरियंटल सिरीज ___ आन द' इंडियन सेक्ट आव द' जैनाज़-बूलर-लिखित अंग्रेजी अनुवाद ( लंदन १९०३ )
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