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________________ वर्ष Jain Education International अंक श्रमण : अतीत के झरोखे में लेखक श्री लक्ष्मीनारायण 'भारतीय' श्री कस्तूरमल बांठिया लेख भगवान् या सामाजिक क्रांतिकारी भगवान् महावीर के जीवन चरित्र ई० सन् ४६३ पृष्ठ २५-२७ ४९-६३ ५-२२ १५ २० १९६४ १९६९ " २६ ३५ ३६ For Private & Personal Use Only भरतेशवैभव में प्रतिपादित सामाजिक एवं आर्थिक व्यवस्था भाग्यवान अन्धा पुरुष भाग्य बनाम पुरुषार्थ भारत की अहिंसक संस्कृति भारतीय चिकित्सा शास्त्र भारत की अहिंसक संस्कृति भारतीय दर्शनों का समन्वयवादी स्थितप्रज्ञ पुरुष भारतीय मनीषा के उज्ज्वलतम प्रतीक पं० सुखलाल जी भारतीय संस्कृति भारतीय संस्कृति का दृष्टिकोण भारतीय संस्कृति का प्रहरी भारतीय संस्कृति में दान का महत्व श्री सुपार्श्वकुमार जैन मुनि महेन्द्र कुमार डॉ० सागरमल जैन मुनिश्री रामकृष्णजी म० सा० श्री अत्रिदेव विद्यालंकार मुनिश्री रामकृष्णजी म० सा० पं० श्री विजयमुनि जी E w s na ar a anuo omara १९७५ १९८३ १९८५ १९५६ १९५३ १९५६ १९८१ ३-८ १४-१६ २-६ २०-२३ २९-३४ २१-२५ १७-२७ ३२ डॉ० रामजी सिंह डॉ० मंगलदेव शास्त्री ___३२ १९८१ १९५५ १९५५ १९५५ १९६९ ४४-४६ १८-३१ ३-१६ २६-२८ ८-१६ www.jainelibrary.org कविरत्न श्री अमरमुनिजी श्री देवेन्द्रमुनि शास्त्री २०६
SR No.001784
Book TitleShraman Atit ke Zarokhe me
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShivprasad, Vijay K Jain, Sudha Jain, Asim Mishra
PublisherParshwanath Vidyapith
Publication Year1999
Total Pages506
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Articles
File Size17 MB
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