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* रत्न उपरत्न और नग नगीना ज्ञान *
१३९ फ्रेंच स्टार तराश (French Star Cut)-यह मिश्रित तराश जैसी ही एक अन्य तराश है।
जाल या गद्दा तराश (Cushion Cut)-इसमें रत्नों को कुछ चपटा तराशा जाता है और उसमें अनीकों की एक या अधिक लाइन मेखला के समानान्तर रखी जाती है।
ट्रिलिएन्ट तराश (Trilliant Cut)- इसमें केवल २२ पहल होते हैं। एक टेबल, ५ ऊपरी फलक, नीचे १५ त्रिकोण (Triangles) और एक क्यूलेट।
बैगूएटी (Baguette)- इसमें १७ पहल होते हैं।
पोलकी (Polky)-एक टेबल और निचले भाग में ३ फलक कुल मिलाकर इसमें ४ फलक होते हैं।
इंगलिश पोलकी (English Polky)-इसमें ऊपर एक फलक और नीचे २४ फलक, कुल मिलाकर २५ फलक होते हैं।
अण्डाकार ज्वलन्त तराश (Oval Brilliant Cut)- इसमें कुल मिलाकर ५८ फलक होते हैं।
कृत्रिम व संश्लिष्ट रत्न रत्न कुल कितने प्रकार के और कौन-कौन से होते हैं, यह बताने के बाद हम प्राकृतिक और कृत्रिम रत्नों के विषय में कुछ बता रहे हैं। यहाँ हम संश्लिष्ट (मिक्स्ड) रत्नों के साथ-साथ रत्नों की श्रेणियों से सम्बन्धित वास्तविकताओं से भी परिचित करा देना चाहते हैं। रत्नों के बारे में सबसे महत्त्वपूर्ण बात जानने की यह है कि गिने-चुने कुछ रत्नों के अतिरिक्त शेष सभी रत्न खनिज पदार्थ हैं, जिन्हें भूगर्भ से प्राप्त किया जाता है। यह सब इनार्गनिक प्रोसेस अर्थात् अकार्बनिक प्रक्रिया के उत्पादक मात्र हैं और एक ही प्रकार के पदार्थों के बने होते हैं।
सबका एक निश्चित रासायनिक संगठन होता है। इस बात को अच्छी तरह से समझ लेना चाहिए कि केवल उन्हीं पत्थरों (स्टोन्स) या खनिज
पदार्थों की मूल्यवान रत्नों में गणना होती है, जो देखने में अत्यन्त सुन्दर हों Jain Education International For Private & Personal Use Only
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