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________________ आभरण-गहना uuurur ने ४४ २४ शब्द अर्थ पृष्ठांक शब्द अर्थ पृष्ठांक निसिअर-राक्षस ६४ निसीढ-मध्य रात्री ४८ नूणं निश्चित .. निसीह ४८ नूण- " निस्फल ( मा० ) निष्फल-व्यर्थ ६३ ने ( धा०) २२६, २६२ निस्सरह ( क्रि०) २२, ५६ निस्सह मन्द नेह ( क्रि०) ४० निहस कसौटी का पत्थर ने उर=पायल-स्त्री के पाँव का निहाय ३६८ आभूषण आभूषण २६ निहिअ-निहित-स्थापित नेच्छति-न+इच्छति वह नहीं निहित्त ८१ चाहता है , निही निधि-भंडार नेड-पक्षी का घोंसला निहे ( क्रि०) नेड्ड= " ८१, २५७ नेति ( क्रि०) वह ले जाता है ११६ नीच-नीचा नेह-स्नेह ५७, ८६, ३१७ नीड-पक्षी का घोंसला नेहालु २६४ नीप-कदंब का पेड़ नीम , नोणीअ-मक्खन नीमी घाघरे की नाड़ी, नीबी ५३ नोमालिआ वसंती-नेवारी-लता ८३ नीव-कदंब का पेड़ नोहलिआ विशेष लता ८२ नीवी-घाघरे की नाड़ी नीसरह २२, १६३ प . नीसासूसास = निश्वास और पइ-पति ६२, २४० उच्छ्वास ६५ पइण्णा-प्रतिज्ञा ३४ नौसेसचाकी नहीं-सब ४३ पईव-प्रदीप-दिया नीहर् (धा०) नूउर-पायल-स्त्री के पाँव का एक पउग नी १८ १८६ ५० . w १६२ ४० पउ Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org |
SR No.001702
Book TitlePrakritmargopadeshika
Original Sutra AuthorN/A
AuthorBechardas Doshi
PublisherMotilal Banarasidas
Publication Year1968
Total Pages508
LanguageHindi
ClassificationBook_Devnagari & Grammar
File Size16 MB
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