________________
प्राक् कथन
१
प्रस्तावना
Introduction
i-iv
Mathematics of Dhavala i-xxiv ( with index )
( by Dr. A. N. Singh )
अधिकार
१ सिद्धान्त और उनके अध्ययनका
२ शंका-समाधान
३ विषय - परिचय
४ विषय-सूची
विषय सूची
पृष्ठ
१-४
१ मृदंगाकार लोकका सामान्य दृश्य २ मृदंगाकार लेाकका यथादर्शन चित्र
Jain Education International
१
.१६
३ मृदंगाकार लेाकका तलविन्यास ४ अधोलोकका सूर्पाकार विन्यास ५ अधोलोक सूर्पाकार विन्यासका यथादर्शन
चित्र
६ अधोलोक सूर्पाकार विन्यासका (समीकृत)
चित्र
""
मुख पृष्ठ
.....२३
....३०
५ शुद्धिपत्र
....५९ ४ ग्रंथोल्लेख
६ क्षेत्र–स्पर्शन-कालप्रमाणदर्शक चार्ट २९ अ आ ५ पारिभाषिक शब्दसूची
चित्र सूची
"
""
""
"
का उपरितन दृश्य
७
""
"
८ अधोलोक सूर्पाकार विन्यासका खंड
दर्शन चित्र
९
खंड नं. २ और ५ का यथादर्शन चित्र,
"
१० खंड नं. २ और ५ का एकपर एक रख
नेपर दृश्य
""
""
मूल, अनुवाद और टिप्पण क्षेत्रानुगम स्पर्शनानुगम
कालानुगम
""
१ क्षेत्रप्ररूपणा सूत्रपाठ स्पर्शनप्ररूपणा सूत्रपाठ
कालप्ररूपणा सूत्रपाठ
२ अवतरण-गाथासूची
३ न्यायोक्तियां
""
....
,,
चित्र
For Private & Personal Use Only
३
परिशिष्ट
""
....
"
33
११ खंड नं. १, ३, ६ व ७ के यथादर्शन चित्र में त्रिकोणाकार और चतुरस्राकार
33
....
खंड
१२ मध्यखंड नं. ४ का यथादर्शन चित्र
| १३ चतुरस्राकार लोकका पूर्व-पश्चिम दृश्य यथादर्शन चित्र का तलविन्यास
१४
१५
१६ भ्रमर १७ गोम्ही
१८ शंख
१९ महामत्स्य
२० लोकाकाशमें स्वर्ग-नरक विभाग
""
१-४८८
१-१३८
...१३९-३०९ ...३११- ४८८
१-४२
१
५
पृष्ठ
१३
२६
२७
२८
३०-४२
....
www.
मुख पृष्ठ
""
33
22
""
""
""
""
""
""
"2
www.jainelibrary.org