________________
राइजिजंबूद्दीप इसाइ जिलरत वाणरसानगरी र विष स्वसेनना माराजाना वामादिवीन आधाराच नामापर विष पेर विष
देवजं बुद्दी विश्तारावासे । नाणारमी एरणयरी ए। श्रासस [ए] स्मरस्मे ।। वामा एदेवीए पु
गई आधाराच आगरदताई इस कालन विशामान त्रिभासंयोगिक दवतान हारि मध्यरात्रिकालि प्रस्तादिसमथर विधा
घरतावर कालसमयसि। विमा हा हिंरात्र जागमुवा गातरं श्राहारखक्कं
डकवतासंबधात ऋषिरे विषाणं तरुषमा मतिकत ३) दिवकर्म मदित
रोगक
तीय 900 सेवकंती याऊ चिंसि गत्ता एव वात (यासे रहा पुरि सादाणीए । तिल
एॐि ज्ञानस तेइमक म्हारो व्यवसाचिचिवानो समय न जाए बंद दिवाकरा रोगमा हि दित एडीचा डीए मस्करी समयमा ती ऊपनाथ बीज
गोवागण्याविदोनिस्मा मित्रिजाप चश्मा एायाग नुए मित्र जाय
विधानतेनाम संगलो जाणिव जालगायत तिकरी प्रश्वा वामारोगी
तिएाइजिनिहारसुतिसलामी परिमेो हि शान वादवि
चव लिलास्त सां। सुर्वणदंसरण विहाणांस नेजा व पिय गिरप विद्या
जगिषामा राणा ते गरी समस्त तिपाई कालि तिए इसमे पार्श्वनाथ तिरुमादे
कमसहित
इधर
जातसमुदेतिंग परिवह शमेशां का लेग तिरपसमय सिरहा १ रिसांदा
SS
Sele
SesselaS GENE
हर