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________________ रुमनदेवादि इन्दोलितवरविकांत शिवाराताले हादसा बाहिरका किम कहा था एनानंतास एकाईमा बोल रा सब्दे निक्स: नवंती मरकायाइय ०बल एक अप जोनल | भा०निवार बोलए हारनील सासायाः स० नि०साध्य: पूर्वकाल जाति हांगा जा वाधार नद समयका दमल्यावहिल कामकिड हायाः न से निरक वा २७ नासाना साना सिछमासी नासाश्रमा एल इमानका लिजे बील इतेनानागतका ला हवा सवति के कहन ०विकांत वाला नालामा कहा एक ३३६ मा सासमय वितिकंतंवांनासिता नासानासाहे सि० ति०साथ ि जाले एक व्यासा बाः स० साथी (सा० जो सातामा : प्रो० मृषा [ कुंडी २] साध्वा | स०मिश्र जेवले जाव 7:1 |सेनिरक् वा२/ जायना सा सच्चा राजाय ना सामोसा|२॥ जाय नासा सच्चा | brary.org
SR No.650018
Book TitleAcharanga Sutra
Original Sutra AuthorSudharmaswami
Author
PublisherZZZ Unknown
Publication Year
Total Pages594
LanguagePrakrit
ClassificationManuscript & agam_acharang
File Size220 MB
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