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________________ पेशव छत्राखावा साय कम्ममा दारगसार किसेजत समद्दिधिपन्न सारख वासाज्य कुम्मन्नमग मसादारगसरी राय से कटा सम्म हिविएस कम्पन्नू मंगगमसारगसरीरेसंजतास जय मेमायास) को गशमसाद गाजिनसंम्मद्दिहियछत वासाजदर कमालगंगा शवको प्रियमसादारगसरारणाऊ तासाप सोकागम) सऊया सेऊया सं सा कांगामा शाऊ दिसे जवसम्म द्दिहिए। गमनदकां नियममादारगसार किंयमशसे । ऊतसम्मा सा माश्यमत्रसाशकं मगमत्र संजय संप) से | कांग मानापमत्र सेऊया सीएस) को गंज्ञा महारगम रजश्एमन्त्रायसाया। मोकामना आदा किहिपत्र पमत्र संजय सं पछां से कंगामामित्र से ऊनासायासाग)कम) आई।।।।।। इष्टिपत्र पमत्र सेऊ) से) यसको गामा एापयित्रयमत्र संऊत सोपास) कोगमा एमादार मरारामा हारग मारणेलात किसे दिए मात्र गोममव२ससे घाण से विएमा आदारगरी रस्मोलोत का २३४
SR No.650015
Book TitlePannavana Sutra
Original Sutra AuthorShyamacharya
Author
PublisherZZZ Unknown
Publication Year
Total Pages596
LanguagePrakrit
ClassificationManuscript & agam_pragyapana
File Size297 MB
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