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________________ १४३ २५४ वां द्वार विभिन्न प्रकार के अंगुलों (माप विशेष) का विवेचन करता है। २५५ वें द्वार में त्रसकाय के स्वरूप का विवेचन किया गया है। २५६ वें द्वार में छः प्रकार के अनन्तकायों की चर्चा है। २५७ वें द्वार में निमित्त शास्त्र के आठ अंगों का विवेचन है। दूसरे शब्दों में यह द्वार अष्टांग निमित्त शास्त्र का विवेचन करता है। २५८ वें द्वार में मान और उन्मान अर्थात् माप-तौल सम्बन्धी विभिन्न पैमाने दिये गये हैं। २५९ वें द्वार में अट्ठारह प्रकार के भोज्य पदार्थों का विवेचन है। २६० वां द्वार षट् स्थानक हानि वृद्धि नामक जैन दर्शन की विशिष्ट अवधारणा का विवेचन करता है। २६१ वें द्वार में उन जीवों का निर्देश है, जिनका संहरण सम्भव नहीं होता है। इसमें बताया गया है कि श्रमणी, अपगतवेद, परिहारविशुद्धचारित्र, पुलाकलब्धि, अप्रमत्त गुणस्थानवी, चौदह पूर्वधर एवं आहारकलब्धि से सम्पन जीवों का संहरण नहीं होता है। २६२ वें द्वार में छप्पन अन्तर्वीपों का विवेचन किया गया है। २६३ वें द्वार में जीवों का पारस्परिक अल्पबहुत्व का विचार किया गया है। २६४ वें द्वार में युगप्रधान सूरियों अर्थात् आचार्यों की संख्या का विवेचन किया गया है। २६५ वें द्वार में ऋषभ से लेकर महावीर स्वामी पर्यन्त तीर्थ की स्थिति का विचार किया गया है। २६६ वां द्वार विभिन्न देवलोकों में देवता अपनी काम वासना की पूर्ति कैसे करते हैं, इसका विवरण प्रस्तुत करता है। २६७ वें द्वार में कृष्णराजी का विवेचन है। २६८ वां द्वार अस्वाध्याय के स्वरूप का विस्तृत विवेचन करता है। २६९ वें द्वार में नन्दीश्वर द्वीप के स्वरूप का विवेचन किया गया है। २७० वें द्वार में विभिन्न प्रकार की लब्धियों (विशिष्ट शक्तियों) का विवेचन है। .२७१ वें द्वार में छ: आन्तर और छ: बाह्य तपों के स्वरूप का विस्तृत विवेचन है। २७२ वें द्वार में दस पातालकलशों के स्वरूप का विवेचन है। २७३ वें द्वार में आहारक शरीर के स्वरूप का विवेचन किया गया है। २७४ वें द्वार में अनार्य देशों का और २७५ वें द्वार में आर्य देशों का Jain Education International For Private & Personal Use Only www.jainelibrary.org
SR No.525045
Book TitleSramana 2001 10
Original Sutra AuthorN/A
AuthorShivprasad
PublisherParshvanath Vidhyashram Varanasi
Publication Year2001
Total Pages218
LanguageHindi
ClassificationMagazine, India_Sramana, & India
File Size9 MB
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